Samachar Post रिपोर्टर, रांची :झारखंड एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) ने आईएएस अधिकारी विनय चौबे के खिलाफ एक नई FIR दर्ज की है। इस प्राथमिकी में उनके रिश्तेदारों और करीबी मित्र विनय सिंह समेत कुल सात लोगों को नामजद अभियुक्त बनाया गया है। आरोप हैं कि चौबे और उनके सहयोगियों ने भ्रष्टाचार के जरिए अवैध संपत्ति अर्जित की। नामजद अभियुक्त विनय चौबे, पत्नी स्वप्ना संचिता दोस्त और अवैध संपत्ति में निवेशक विनय सिंह, विनय सिंह की पत्नी संचिता सिंह, साला शिपिज त्रिवेदी, साली प्रियांका त्रिवेदी, ससुर एसएन त्रिवेदी। प्राथमिकी में करोड़ों की गड़बड़ी, फर्जी लेन-देन और परिवार तथा कर्मचारियों के जरिए संपत्ति हेराफेरी करने का आरोप लगाया गया है। वर्तमान में विनय चौबे और विनय सिंह शराब और जमीन घोटाले के मामलों में जेल में हैं।
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ACB की जांच में सामने आए तथ्य
चौबे ने ज्ञात आय 2.20 करोड़ रुपये होने के बावजूद लगभग 3.47 करोड़ रुपये की संपत्ति अपने और सहयोगियों के खातों में जमा कराई। अवैध कमाई के लिए पत्नी, साले, ससुर और मित्रों के खातों को नेटवर्क के रूप में इस्तेमाल किया गया।जमा राशि का इस्तेमाल नकद, RTGS, लोन पेमेंट, संपत्ति के निबंधन और निजी कंपनियों को भुगतान में किया गया।
भ्रष्टाचार का पैटर्न
जांच में यह पता चला कि विनय चौबे की भ्रष्टाचार की प्रवृत्ति प्रत्येक पद पर रही। हजारीबाग में उपायुक्त रहते हुए भूमि घोटाले, रांची में आबकारी विभाग में रहते हुए शराब घोटाले की जानकारी मिली। एसीबी टीम अब अभियुक्तों के खातों, डिजिटल डेटा, मोबाइल फोन और संपत्ति दस्तावेजों की पूरी ट्रेसिंग कर रही है। यह FIR भ्रष्टाचार और अवैध संपत्ति के मामलों में नई जांच का महत्वपूर्ण मोड़ है और इसके आगे की कार्रवाई में राज्य प्रशासन और न्यायिक प्रक्रिया की निगरानी जारी रहेगी।
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