- क्षमता से ज्यादा कैदी, अव्यवस्था बढ़ी
Samachar Post डेस्क, रांची : पलामू सेंट्रल जेल की क्षमता लगभग 760 कैदियों की है, लेकिन वर्तमान में यहां करीब 925 कैदी बंद हैं। इनमें सजायाफ्ता कैदी, अंडरट्रायल और यहां तक कि फांसी की सजा पाए तीन कैदी भी शामिल हैं। क्षमता से अधिक कैदियों के कारण जेल में अव्यवस्था की स्थिति उत्पन्न हो गई है।
कुख्यात अपराधियों की मौजूदगी से बढ़ी चिंता
जेल में इस समय कई बड़े अपराधी और गैंगस्टर बंद हैं। इनमें नक्सल संगठन पीएलएफआई का सुप्रीमो दिनेश गोप, झारखंड का कुख्यात गैंगस्टर सुजीत सिन्हा और डब्लू सिंह का नाम प्रमुख है। साथ ही कोयलांचल और जमशेदपुर के कई कुख्यात अपराधी भी इसी जेल में कैद हैं।
चरणबद्ध तरीके से होगा ट्रांसफर
जेलर आशीष कुमार ने पुष्टि की है कि 200 कैदियों का ट्रांसफर हजारीबाग सेंट्रल जेल में किया जाएगा। यह प्रक्रिया कई चरणों में और सख्त सुरक्षा व्यवस्था के तहत पूरी होगी।
सुरक्षा को लेकर लगातार पत्राचार
पलामू जेल की स्थिति को देखते हुए आईजी और डीआईजी स्तर के अधिकारियों ने कई बार डीसी और एसपी को पत्र लिखकर अतिरिक्त सुरक्षा बल की मांग की है। अधिकारियों का मानना है कि जेल में बंद कुख्यात कैदियों की वजह से किसी भी समय बड़ा खतरा उत्पन्न हो सकता है।
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अंग्रेजों के जमाने की जेल
गौरतलब है कि पलामू सेंट्रल जेल का निर्माण अंग्रेजों के शासनकाल में किया गया था। यह जेल लंबे समय से नक्सलियों और गैंगस्टरों के लिए प्रमुख कैदगाह मानी जाती रही है।
Reporter | Samachar Post
मैंने सेंट्रल यूनिवर्सिटी ऑफ झारखंड से पत्रकारिता में पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री ली है। पत्रकारिता के क्षेत्र में बतौर रिपोर्टर मेरा अनुभव फिलहाल एक साल से कम है। सामाचार पोस्ट मीडिया के साथ जुड़कर स्टाफ रिपोर्टर के रूप में काम कर रही हूं।